हाईवे Cottage- Short Horror Story
आधी रात का वक्त हो चुका था | आसमान बादलों से घिरा हुआ था और तूफानी हवायें चल रही थी | रह रह कर बिजली कड़क रही थी | ऐसी रात में दिल्ली-जयपुर हाईवे पर भागती हुई ये कार जिसमे एक 50 साल के दम्पति बैठे हुए थे | पत्नी चारों तरफ बाहर देखते हुए घबराकर बोली मैंने आपसे कहा था न हम कल सुबह निकलेंगे लेकिन आपको तो अपनी ही ज़िद माननी होती है | आप देखिये बाहर कैसा मौसम हो गया है अब हम क्या करेंगे |
पति हस्ते हुए, हा हा हा ! अरे रेणुका तुम भी न , बच्चों की तरह डर रही हो मौसम ही तो ख़राब हुआ है | आपने सुना नहीं है ये हाईवे भुतिया हाईवे माना जाता है और रात के वक्त इस हाईवे पर कई बार लोगों को भूत प्रेत का साया महसूस हुआ है | पवन ने एक दम से गाड़ी के ब्रेक लगाए और घबराकर रेणुका की तरफ देखते हुए बोला हां रेणुका तुम सही कह रही हो | मैंने अभी-2 देखा हमारी गाड़ी के सामने से अभी कोई बड़ी तेजी से निकला है | देखो जरा, रेणुका डरते हुए बाहर देख कर बोली कहाँ, कहाँ गुजरा है ? रेणुका के झाड़ पर पवन हँसता हुआ बोला , हा हा हा वही तो मैं कह रहा हूँ, कहाँ है भूत-प्रेत का साया ? लोग और लोगों की मन घड़ंत बातें , तुम भी न , अरे ऐसा कुछ नहीं होता | अब चलो अगर तुम्हे आगे भी डर लग रहा हो तो आगे अगर कोई घर दिखा होटल दिखा तो रुक जायेंगे | तभी बाहर जोरदार बारिश शुरू हो गयी और गाड़ी खराबी करने लगी ऐसा लगने लगा था अभी रुक जाएगी | पवन चिढ़ते हुए बोला अब इसी की कमी रह गयी थी पहले ही मौसम ख़राब है और अब तो गाडी चलाने में भी बहुत दिक्त हो रही है | तभी पवन को पीछे से एक साइकिल वाला दिखा | इतनी रात में किसी को इसी तरह साइकिल चला कर जाता देख पवन हैरानी से बोला, यहाँ तो कार में नहीं चला जा रहा है, और ये साइकिल से जा रहा है | पवन ने खिड़की खोली और आवाज़ लगा कर बोला अरे भईया सुनो जरा यहाँ आस-पास कोई होटल या घर मिलेगा, जहाँ हम रात गुजार सकें | साइकिल वाले ने पवन और उसके बगल में बैठी रेणुका को देखा और अजीब तरीके से मुस्कुराया उसका चेहरा बिलकुल ही बर्फ की तरह सफ़ेद लग रहा था | आँखे बहुत ही शांत। उसने हाथ के इशारे से दिखाते हुए बोला। बस कुछ ही दूरी पर एक कॉटेज है। वहां जाकर रुक सकते हो,शुक्रिया भाई। -हाईवे Cottage- Short Horror Story
लेकिन तुम मुझे बताओ इतनी रात मैं साइकिल से बारिश में कहां जा रहे हो। वैसे भी इतनी रात में हाइवे पर साइकिल से जाना बिलकुल सुरक्षित नहीं है और साइकिल वाला उसी तरह रहस्यमय तरीके से मुस्कुराता हुआ बोला।हा हा हा फिर सुरक्षा का तो क्या है साहब। कौन, कब, कहां सुरक्षित है कौन जानता है। यह कहकर साइकिल वाले ने रेणुका की तरफ गौर से देखा और वहां से चला गया। रेणुका पवन से बोली। ये आदमी मुझे कुछ ठीक नहीं लग रहा था। इसकी बातें कितनी अजीब थी सुनो मुझे क्या लगता है क्यों न हम गाड़ी में ही रह जाएं।
तुम्हारी प्रॉब्लम क्या है। हां, जब चाहो तुम्हें गाड़ी में रुकना है, कभी ऐसे मौसम में जाना नहीं है। अब चुप करके बैठे रहो | जल्दी, पवन को वो Cottage मिल गया। पवन ने कॉटेज के बाहर अपनी गाड़ी रोकी। उस कॉटेज के बाहर एक छोटा सा पीले कलर का बल्ब जल रहा था और वो कॉटेज दिखने में बहुत पुराना था। पवन ने रेणुका से कहा, आओ, संभलकर उतरो और दोनों ही भागते हुए कॉटेज के दरवाज़े तक चले गए। पवन ने दरवाजा खटखटा कर आवाज लगाई। कोई है, एक दो बार दरवाजा खटखटाने के बाद दरवाजा खोला और सामने एक बुजुर्ग निकला। उसकी उम्र करीब 85 90 साल की होगी। उसने रेणुका और पवन को देखा और बोला।
क्या चाहिए?
अंकलजी। दरअसल हमारी गाड़ी इस बारिश में आगे नहीं बढ़ रही है। मौसम बहुत खराब हो गया है तो अगर आप हमें कुछ घंटे यहां रुकने के लिए जगह दे दें तो बड़ी मेहरबानी होगी और वो बूढ़ा उन दोनों को देखकर मुस्कुराता हुआ बोला हा हा हा,
हां, हां क्यों नहीं |
उसने रेणुका और पवन को अंदर बुला लिया। अंदर जाकर भी वो घर वैसे ही पुराना था। आवश्यक जरूरत की चीजें थी। बूढ़े ने एक तरफ इशारा करते हुए कहा। उधर बैठ जाओ। अच्छा आप यहां अकेले रहते हैं। बूढ़ा कोने में पड़े स्टोव को जलाने की कोशिश करता हुआ बोला। हां। सालों से मैं यहां अकेला रहता हूं। तुम लोग भीग गए हो। ठंड लग रही होगी। चाय पियोगे, जी ! बहुत-बहुत धन्यवाद। जल्दी बूढ़े ने दो कप चाय बनाई। और रेणुका और पवन को देते हुए कहा। इसे अपना ही घर समझो। -हाईवे Cottage- Short Horror Story
रेणुका को वह सब बहुत अजीब लग रहा था। फिर भी वह घबराते हुए जैसे ही चाय का पहला घूंट लेने लगी उसके हाथ से कप छूट गया और वह चिल्लाकर बोली। खून, इसमें में खून है। क्या हो गया है, रेणुका? कहा, खून है, चाय है। रेणुका ने देखा कि फर्श पर टूटे हुए कप के साथ चाय बिखरी हुई थी। रेणुका को लगा कि शायद वह बहुत ज्यादा सोच रही है। ऐसा कैसे हो सकता है कप में खून हो। वह बूढ़ा हंसता हुआ बोला हा हा हा।
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कोई बातें नहीं, तुम्हारे जैसे बहुत लोग हैं जो यहां आते हैं और उन्हें ऐसा वहम होता है। दरअसल इस घर का इतिहास ही कुछ ऐसा है। और यह सुनकर रेणुका डरते हुए बोली। इतिहास, कैसा इतिहास। बूढ़ा गहरी सांस लेकर बोला। सालों पहले यहां एक पति पत्नी अपने बच्चे के साथ रहा करते थे। एक दिन अचानक आधी रात में तीन लोगों ने उनसे मदद मांगी और रात में रुकने का आश्रय मांगा। उन्होंने दे दिया। -हाईवे Cottage- Short Horror Story
इस बात से अनजान कि वह लोग कौन हैं, वो लोग डकैत थे और डकैती का सामान लेकर आए थे। आधी रात में जब घर का मालिक उठकर बाथरूम की तरफ गया तो उसने देखा कि बाथरूम में उसके बच्चे की लाश पड़ी हुई थी। वह घबराकर आया और अपनी बीवी को उठाने लगा तो उसने देखा कि उसकी बीवी कमरे में नहीं है। अपनी बीवी को ढूंढ़ता हुआ जब वह बाहर तक आया तो यही जहां तुम लोग बैठे हो। यहीं यही बरामदे में उसकी बीवी की लाश पड़ी हुई थी। तभी उसे अपने पीछे किसी के होने का अहसास हुआ और उसने पीछे पलटकर देखा तो एक डकैत था। -हाईवे Cottage- Short Horror Story
उस आदमी ने पूछा यह सब क्या है? लेकिन उस घायल डकैत ने घर के मालिक के पेट में चाकू घोप दिया और घर का मालिक भी वहीं मर गया। डकैतों ने पूरे घर में आग लगा दी ताकि सबूत मिट जाए। उसके बाद ऐसी चीजें कभी कभी हो जाती है। वह लोग यहीं तो रहते हैं। यहीं आसपास फिर पवन हैरानी से बोला, लेकिन यह घर जला हुआ तो नहीं लग रहा है और आप यहाँ कैसे रहते हैं और बदले में बुड्ढा केवल हंसकर रह गया। यह सब सुनकर रेणुका बहुत ज्यादा डर चुकी थी। उसे वहां ठीक नहीं लग रहा था। उसने पवन को वहां से चलने के लिए कहा। उस बूढ़े की बात से पवन भी बहुत ज्यादा घबरा चुका था। इसलिए उसने बुजुर्ग से कहा, जी आपका शुक्रिया आपने हमें यहाँ रुकने की जगह दी। अब मौसम शायद ठीक हो चुका है। बारिश और बादलों की आवाज भी नहीं आ रही है। अब हमें निकलना चाहिए। बदले में वह बुजुर्ग केवल मुस्कुरा रहा था। -हाईवे Cottage- Short Horror Story
पवन ने रेणुका से कहा और दो मिनट रुको मैं एक बार बाहर देखकर आता हूं। पवन तुरंत बाहर गया। बाहर मौसम को देखकर बोला हाँ मेरा अंदाजा ठीक है। मौसम सही हो रहा है। इससे पहले वह बूढ़ा कुछ और अजीब बातें करे। हमें यहां से निकल जाना चाहिए। पवन वापस घर के भीतर आया, लेकिन उसने जैसे ही घर के भीतर कदम रखा उसके होश उड़ गए क्योंकि वह घर पहले जैसा तो था ही नहीं। जैसा उसने देखा था। चारों तरफ मकड़ी के जाल लटक रहे थे। भीतर से पूरी तरीके से जला हुआ और वह इंसान क्या इंसान का नामोनिशान नहीं था और ना ही उसे वहां रेणुका नजर आ रही थी। पवन ने आवाज लगाई, रेणुका कहां तुम रेणुका लेकिन रेणुका की कोई आवाज नहीं आई।
घर का दरवाजा धड़ाम से बंद हो गया और चारों तरफ अंधेरा फैल गया। पवन को वहां कुछ नहीं दिख रहा था। उसे डर भी लग रहा था, लेकिन रेणुका की चिंता भी हो रही थी। पवन ने तुरंत अपने पॉकेट से लाइटर निकाला और लाइटर को जलाया। उसकी रौशनी में धीरे धीरे अपने कदम आगे बढ़ाने लगा। उसे ऊपर की तरफ जाती। एक सीढ़ी दिखी और पवन ऊपर की तरफ बढ़ गया। ऊपर जाते ही उसे सामने कमरा दिखा, जिसमें किसी औरत के गुनगुनाने की आवाज आ रही थी। पवन को हैरानी हुई कि आखिर गुनगुना कौन रहा है और पवन के कदम अपने आप उस कमरे की तरफ चलने लगे। कमरे में पहुंचकर पवन ने देखा कि सामने रेणुका कमरे में लगे आइने के सामने अपने बाल बना रही है। पवन बोला रेणुका, तुम्हारा दिमाग खराब हो गया है। तुम अभी यहाँ बाल बना रही हो, चलो जल्दी यहाँ से ये जगह ठीक नहीं है। पवन की आवाज से रेणुका जैसे ही पीछे पलटी। -हाईवे Cottage- Short Horror Story
पवन चीख़ता हुआ पीछे गिर गया क्योंकि वो रेणुका नहीं थी। उसका पूरा चेहरा जगह जगह चाकू के निशान से घायल था और खून निकल रहा था। उसकी आंखे बिल्कुल सफेद थी और पवन को देखकर हंसती हुई बोली| इससे सुंदर जगह तो कोई भी नहीं है पवन, आओ हम इसी जगह अपनी दुनिया बनाए और तुम्हें पता है। यहां सिर्फ हम ही नहीं बहुत से लोग रहते हैं। देखो अपने आसपास। -हाईवे Cottage- Short Horror Story
लोगों की अजीब सी आवाज सुनकर पवन ने घबराते हुए चारों तरफ देखा तो उसने पाया कि वहां जगह जगह रेणुका की तरह ही घायल और सफेद आंखों वाले लोगों की पूरी फौज खड़ी थी। पवन को समझते देर नहीं लगी कि ये सभी आत्माएं हैं। पवन समझ गया कि रेणुका भी इन्हीं में से एक बन चुकी है और अब पवन को अफसोस हो रहा था कि आखिर वो यहां आया ही क्यों था, लेकिन अब उसे खुद को बचाना था। इसलिए पवन उल्टे पैर कमरे से निकला और सीढ़ियों से नीचे उतरकर भागने की कोशिश करने लगा, लेकिन पवन जितनी सीढ़ियां उतरता उतनी ही सीढ़ियां बढ़ती ही जा रही थी। सीढ़ियां खत्म ही नहीं हो रही थी और आखिर में भागते हुए हांफता हुआ। पवन वहीं सीढ़ियों पर बैठ गया और रोता हुआ बोला। -हाईवे Cottage- Short Horror Story
आखिर हमने क्या बिगाड़ा है तुम्हारा? तुम सब हमारे साथ ऐसा क्यों कर रहे हो। और पवन के इतना कहते ही वो सारी आत्माएं एकसाथ जोर जोर से हंसने लगे और पवन अपनी कान बंद करता हुआ बोला बस करो। मुझसे बर्दाश्त नहीं हो रहा और तभी अचानक वो बूढ़ा पवन के सामने आकर खड़ा हो गया। लेकिन इस वक्त वो बूढ़ा कोई सामान्य नहीं था, बल्कि उन्हीं आत्माओं की तरह कटे फटे शरीर के साथ खड़ा था और चीखता हुआ बोला हआआ……
हमारा क्या कसूर था। हमने क्या बिगाड़ा था जो हम बेमौत मारे गए हैं। ऐसी घर में आने वाला हर शख्स मरेगा यहां से कोई जिंदा नहीं बच पाएगा। अब तुम्हारी बारी है। इतना कहकर आत्माओं ने पवन को घेर लिया और पवन की चीख से वह पूरा घर गूंज उठा ।आआआआआआ……….. -हाईवे Cottage- Short Horror Story
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